देहरादून। विधानसभा के मंगलवार को होने वाले विशेष सत्र की सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। इसमें अनुसूचित जाति व जनजाति के लिए अगले 10 साल तक आरक्षण की अवधि बढ़ाने संबंधी केंद्र सरकार के निर्णय के मद्देनजर अनुसमर्थन प्रस्ताव पारित किया जाएगा। सोमवार को हुई विधानसभा की कार्यमंत्रणा समिति की बैठक में इस पर चर्चा के लिए दो घंटे की चर्चा का समय तय किया गया। उधर, विपक्ष ने विशेष सत्र में बिजली की दरों बढ़ोतरी, महंगाई समेत अन्य मुद्दों पर सरकार घेरने की तैयारी भी की है। दूसरी तरफ, सरकार ने भी विपक्ष के सवालों का जवाब देने को इसी हिसाब से रणनीति तैयार की है। लिहाजा सत्र के हंगामेदार रहने के भी आसार हैं।

केंद्र सरकार द्वारा संविधान में दी गई व्यवस्था के अनुसार अनुसूचित जाति और जनजाति के लिए अगले 10 साल के लिए आरक्षण की अवधि को बढ़ाया गया है। लोकसभा व राज्यसभा इस प्रस्ताव को पारित कर चुकी है। अब देश के आधे से अधिक राज्यों की विधानसभाओं से भी इसका अनुसमर्थन कराना जरूरी है। इसी के दृष्टिगत राज्य विधानसभा का विशेष सत्र मंगलवार को आयोजित किया जा रहा है।

सोमवार को विधानसभा में हुई कार्यमंत्रणा समिति की बैठक में विशेष सत्र का बिजनेस तय किया गया। बैठक के बाद पत्रकारों से बातचीत में विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद अग्रवाल ने बताया कि शीतकालीन सत्र का अभी सत्रावसान नहीं हुआ है। यह गतिमान है और इसी के क्रम में विशेष सत्र हो रहा है। इसमें प्रश्नकाल, शून्यकाल समेत विधायी कार्य होंगे। विधायी कार्य के तहत आरक्षण संबंधी अनुसमर्थन प्रस्ताव पर चर्चा एवं पारण होगा।

उन्होंने बताया कि शीतकालीन सत्र में पूर्व में 831 प्रश्न विधायकों की ओर से आए थे। इनमें अनुत्तरित प्रश्नों को प्रश्नकाल में स्वीकार किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सत्र की सभी तैयारियां पूरी हो चुकी हैं। कार्यमंत्रणा समिति की बैठक में संसदीय कार्यमंत्री मदन कौशिक, नेता प्रतिपक्ष डॉ.इंदिरा हृदयेश, विधायक प्रीतम सिंह, गोविंद सिंह कुंजवाल, खजानदास आदि मौजूद थे।
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