देहरादून I राज्यसभा सांसद और भाजपा के राष्ट्रीय मीडिया प्रमुख अनिल बलूनी का वादा उनके मित्र पूरा करेंगे। वे आठ नवंबर को बलूनी के पैतृक गांव में इगास मनाने आएंगे।  प्रदेश की परंपराओं को जिंदा रखने और घर-बार छोड़ चुके लोगों को जड़ों की ओर लौटने का आह्वान करने वाले बलूनी इन दिनों अस्वस्थ हैं।
उन्होंने वादा किया था कि इगास पर्व वे अपने पैतृक गांव में मनाएंगे। उन्होंने लोगों से भी गांवों में जाकर इगास पर्व मनाने का आह्वान किया था। लेकिन अस्वस्थ होने के कारण बलूनी अपने पैतृक गांव नहीं जा पा रहे हैं।

उनका ये वादा अब उनके मित्रों ने निभाने का फैसला किया है। बलूनी के करीबी मित्र संबित पात्रा जो भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता भी हैं, ने बाकायदा एक वीडियो जारी किया है। जिसमें वे इगास मनाने बलूनी के पैतृक गांव नकोट, कंडवालस्यु जाएंगे। ये गांव पौड़ी जनपद के कोट ब्लाक में स्थित है।

वीडियो में संबित पात्रा ने कहा है कि उनके साथ कुछ और मित्र भी बलूनी के गांव पहुंचेंगे। पात्रा ने कहा ‘वे भी उत्तराखंड के अन्य प्रवासियों की तरह इगास मनाने पहुंचेंगे और पलायन के कारण तेजी से विलुप्त होती लोक परंपराओं और संस्कृति के संरक्षण के लिए इस अभियान के भागीदार बनेंगे और सांसद अनिल बलूनी के इस अभियान से जुड़ने के लिए राज्य के नौजवानों से भी अपील करेंगे।’

जहां तक बलूनी का प्रश्न है तो वे राज्य की परंपराओं और संस्कृति के संरक्षण के लिए निरंतर कार्य करते आए हैं। ‘अपना वोट अपने गांव’ अभियान के तहत उन्होंने पलायन के कारण उत्तराखंड के पर्वतीय जिलों की सिमटती विधानसभा सीटों की चिंता की। इसी चिंता के समाधान के लिए ये अभियान चलाया। इसी के तहत उन्होंने उत्तराखंड के प्रमुख लोक पर्व इगास या इकाशी बग्वाल को मनाने के लिए देश-विदेश में रह रहे प्रवासी उत्तराखंडियों का आह्वान किया।
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